मध्यप्रदेश के कई जिलों में जारी मूसलधार बारिश ने आम जनजीवन को पूरी तरह से अस्त-व्यस्त कर दिया है। लगातार हो रही बारिश के कारण बांधों का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है, वहीं निचले इलाकों में बाढ़ जैसे हालात बनने लगे हैं। सबसे गंभीर स्थिति बाणसागर डैम की है, जहां जलस्तर बढ़ने के चलते चौथी बार 8 गेट खोलने पड़े हैं। प्रशासन अलर्ट मोड पर है और लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी जा रही है।
बाणसागर डैम में खतरे का स्तर पार, निचले इलाकों में अलर्ट
सूत्रों के अनुसार, बाणसागर डैम में 81.27% जलभराव हो चुका है। भारी बारिश की वजह से डैम में लगातार पानी की आवक बनी हुई है। स्थिति को देखते हुए 2 मीटर तक डैम के 8 गेट चौथी बार खोले गए हैं ताकि अतिरिक्त पानी को निकाला जा सके।
बाणसागर में वर्तमान में 1019 क्यूसेक पानी का आगमन हो रहा है, जबकि 3191 क्यूसेक की निकासी की जा रही है। स्पिलवे गेट से 3080 क्यूसेक पानी छोड़ा जा रहा है ताकि जलस्तर नियंत्रित रहे। प्रशासन ने डैम के निचले इलाकों में अलर्ट जारी करते हुए लोगों को सुरक्षित स्थानों पर रहने की सलाह दी है।
स्कूलों में अवकाश, कस्बों में जलभराव, थाना परिसर तक पानी
डिंडौरी जिले में स्थिति गंभीर बनी हुई है। अतिवृष्टि के चलते कलेक्टर नेहा मारव्या ने सभी सरकारी स्कूलों में अवकाश घोषित किया है। इसी तरह मऊगंज जिले में भी सभी स्कूलों में आज छुट्टी घोषित कर दी गई है।

नईगढ़ी कस्बे की स्थिति बेहद चिंताजनक है जहां कई घरों में घुटनों तक पानी भर गया है। लोग जरूरी सामान लेकर सुरक्षित स्थानों की ओर पलायन कर रहे हैं। यहां तक कि स्थानीय थाना परिसर भी जलमग्न हो गया है।
पीथमपुर में हादसा, दीवार गिरी
पीथमपुर में बारिश का एक और खतरनाक रूप सामने आया है। यहां एक निर्माणाधीन तीन मंजिला मकान की दीवार गिर गई। हालांकि राहत की बात यह रही कि हादसे में कोई जनहानि नहीं हुई। फिर भी इसने प्रशासन को सतर्क कर दिया है कि पुराने व अधूरे निर्माणों पर नजर रखी जाए।
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प्रशासन की तैयारियां और सतर्कता
प्रशासन ने जलभराव वाले क्षेत्रों में निगरानी बढ़ा दी है। स्थानीय पुलिस, नगर पालिकाएं और राजस्व विभाग की टीमें स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं। बाणसागर प्रबंधन और जिला प्रशासन ने नागरिकों को हिदायत दी है कि वे जलभराव और निचले इलाकों से दूर रहें और किसी भी आपात स्थिति में तुरंत हेल्पलाइन नंबरों पर संपर्क करें।
क्या आगे और बिगड़ सकती है स्थिति?
मौसम विभाग ने अगले 48 घंटे भारी बारिश की संभावना जताई है, जिससे हालात और गंभीर हो सकते हैं। नदियों का जलस्तर बढ़ने से बाढ़ का खतरा कई जिलों में बना हुआ है। प्रशासनिक अमला फिलहाल पूरी तरह से चौकस और मुस्तैद है।