रीवा: जिले का पूर्वा वाटरफॉल इस समय पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र बना हुआ है, लेकिन प्रशासन इस स्थिति को लेकर चिंतित है।मध्य प्रदेश में भारी बारिश ने जहां एक ओर जीवन को अस्त-व्यस्त कर दिया है, वहीं दूसरी ओर प्रदेश के कई जलाशयों और वाटरफॉल्स की खूबसूरती में भी इज़ाफा हुआ है।



पूर्वा वाटरफॉल की अद्भुत सुंदरता और खतरे का संगम
70 मीटर (230 फीट) की ऊंचाई से गिरता लाखों क्यूबिक लीटर पानी, इस वक्त पूर्वा वाटरफॉल को एक तूफानी समुंदर का रूप दे रहा है। भारी बारिश के कारण इस वाटरफॉल की गहराई पूरी तरह से भर चुकी है, और इसका प्रभावशाली दृश्य पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित कर रहा है। प्रति सेकंड जब पानी गिरता है, तो ऐसा लगता है जैसे प्रकृति अपनी शक्ति का प्रदर्शन कर रही हो।
हालांकि, इस खूबसूरत नजारे के साथ-साथ एक खतरनाक सच्चाई भी जुड़ी हुई है। पर्यटक जो सेल्फी लेने और इस दृश्य का आनंद लेने के लिए नजदीक पहुंच रहे हैं, वे अक्सर हादसे का शिकार हो जाते हैं। जल के प्रवाह की तेज धार और गहरी गहराई के कारण दुर्घटनाओं की संभावना बढ़ जाती है।
प्रशासन की सतर्कता और सुरक्षा उपाय
रीवा शहर के आसपास की पहाड़ियों और वाटरफॉल्स की खूबसूरती ने इस क्षेत्र को पर्यटकों के लिए एक प्रमुख स्थल बना दिया है। जिले में 60 से 70 किलोमीटर के दायरे में कई शानदार वाटरफॉल्स हैं, जो बारिश के मौसम में और भी आकर्षक हो जाते हैं। लेकिन इस मौसम में इन स्थलों पर जाना खतरे से खाली नहीं है।
प्रशासन इस समय अलर्ट मोड पर है और सुरक्षा उपायों को सुनिश्चित कर रहा है। प्रशासनिक अधिकारी पर्यटकों को सुरक्षा के प्रति जागरूक करने के साथ-साथ जलाशयों और वाटरफॉल्स के नजदीक जाने से रोकने के लिए उपाय कर रहे हैं। स्थानीय पुलिस और सुरक्षा कर्मी नियमित निगरानी कर रहे हैं, ताकि कोई भी पर्यटक जोखिम भरे क्षेत्रों में न फंसे।
पूर्वा वाटरफॉल की मौजूदा स्थिति ने न केवल पर्यटकों को मोहित किया है, बल्कि प्रशासन के लिए भी एक चुनौती प्रस्तुत की है। जहां एक ओर इस प्राकृतिक सौंदर्य का आनंद लिया जा सकता है, वहीं सुरक्षा के उपायों को भी ध्यान में रखना अत्यंत महत्वपूर्ण है। पर्यटकों को सलाह दी जाती है कि वे अपनी सुरक्षा का ध्यान रखें और प्रशासन द्वारा जारी निर्देशों का पालन करें, ताकि इस अद्भुत नजारे का आनंद बिना किसी जोखिम के लिया जा सके।