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रीवा: 5 वर्षीय बच्चे से टॉयलेट साफ कराना, ठंड में खड़ा रखना; स्कूल मैनेजमेंट पर गंभीर आरोप

मध्य प्रदेश के रीवा जिले के बोदाबाग स्थित किंडर गार्डन ज्योति स्कूल में पांच वर्षीय बच्चे के साथ अमानवीय व्यवहार का मामला सामने आया है। बीमार बच्चे ने क्लासरूम में टॉयलेट कर लिया, जिसके बाद टीचर और आया ने उसके साथ शर्मनाक व्यवहार किया। बच्चे से जबरन टॉयलेट साफ कराया गया और चार घंटे तक कड़कड़ाती ठंड में पेंट उतरवाकर खड़ा रखा गया। इस घटना ने क्षेत्र में आक्रोश पैदा कर दिया है।

क्या है मामला?

घटना 18 जनवरी की है। क्लासरूम में मौजूद बच्चे की तबीयत खराब हो गई, जिससे उसने अनजाने में टॉयलेट कर लिया। टीचर ने उसे डांटा और आया के साथ खींचते हुए वॉशरूम ले गईं। वहां बच्चे से कपड़े उतरवाए गए और एक पतला तौलिया लपेटकर उसी से टॉयलेट साफ कराया गया। बच्चे को चार घंटे तक बिना पेंट के ठंड में खड़ा रखा गया।

जब स्कूल की छुट्टी हुई, तो परिजनों को घटना की जानकारी मिली। वे तुरंत स्कूल पहुंचे और मौखिक शिकायत की। जब कार्रवाई नहीं हुई, तो लिखित शिकायत दर्ज करने पर उन्हें धमकाया गया। परिजनों के मुताबिक, स्कूल प्रबंधन ने कहा, “आपको अपना बच्चा आगे पढ़ाना है या नहीं?”

बच्चे की मानसिक स्थिति बिगड़ी

परिजनों का कहना है कि घटना के बाद से बच्चा गुमसुम रहता है। वह किसी से बात नहीं कर रहा और रात में डरकर उठकर चिल्लाने लगता है। बच्चा स्कूल जाने से मना कर रहा है। पिता ने कहा, “रात में बेटा चिल्लाकर कह रहा था- ‘मैम, मुझे मत मारो। मेरे ऊपर ठंडा पानी मत डालो। प्लीज मैम, मुझे छोड़ दो।’ उसकी हालत देखकर हम डरे हुए हैं।”

एबीवीपी का प्रदर्शन और प्रशासन का हस्तक्षेप

घटना के बाद अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के कार्यकर्ताओं ने स्कूल के खिलाफ प्रदर्शन किया। एबीवीपी जिला संयोजक पीएन पांडेय ने कहा, “बच्चे को ठंड में गीले जूते-मोजे पहनाकर खड़ा रखा गया और उसके कपड़े व बैग गलियारे में फेंक दिए गए। दोषियों पर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए।”

इस प्रदर्शन में नगर मंत्री हर्ष साहू ,भाग संयोजक पवन द्विवेदी, नगर सह मंत्री ऋषभ ,प्रांत कार्यकारी सदस्य दिशा मिश्रा भी शामिल रहे

प्रदर्शन के बाद स्कूल प्रबंधन ने आया को हटा दिया और मामले की जांच का आश्वासन दिया।

प्रशासन की प्रतिक्रिया

जिला शिक्षा अधिकारी (डीईओ) सुदामा लाल गुप्ता ने बताया कि दो प्राचार्यों की जांच टीम गठित की गई है। कलेक्टर प्रतिभा पाल ने कहा, “स्कूल शिक्षा विभाग से मामले की जांच कराई जाएगी। नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।”

परिजनों की मांग

बच्चे के परिजनों ने कहा कि वे स्कूल प्रबंधन के रवैये से आहत हैं। उन्होंने दोषी टीचर और आया के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है।

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इस घटना ने न केवल परिजनों, बल्कि समाज में भी रोष पैदा कर दिया है। अभिभावक और सामाजिक संगठन बच्चों के साथ होने वाले ऐसे अमानवीय व्यवहार के खिलाफ सख्त कदम उठाने की मांग कर रहे हैं।

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