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सत्ता के इशारे पर आवाज दबाई जा रही है: शिवसेना प्रदेश उपाध्यक्ष विवेक पांडे

सीधी (Sidhi News): मुख्यमंत्री के आगमन पर सीधी जिले को संभाग बनाने की मांग को लेकर शिवसेना इकाई द्वारा ज्ञापन सौंपने की योजना बनाई गई थी। हालांकि, इससे पहले ही शिवसेना के प्रदेश उपाध्यक्ष विवेक पांडे सहित अन्य पदाधिकारियों को बहरी थाने में नजरबंद कर दिया गया। यह कार्रवाई सुबह करीब 5 बजे सत्ता के इशारे पर की गई, जिससे मुख्यमंत्री के समक्ष यह मांग न उठाई जा सके।

शिवसेना का विरोध

विवेक पांडे ने बताया कि सीधी जिला वर्षों से उपेक्षा का शिकार रहा है। यहां की जनता ने कांग्रेस और भाजपा दोनों को भरपूर समर्थन दिया — मंत्री, सांसद, विधायक दिए, लेकिन बदले में बेरोजगारी, शिक्षा में लूट और स्वास्थ्य में भ्रष्टाचार ही हाथ लगा।

विवेक पांडे का आरोप है कि सिंगरौली को सीधी से अलग कर जिले को अनाथ बना दिया गया है। स्थानीय नेता सिर्फ अपने स्वार्थ की राजनीति कर रहे हैं और उनकी संपत्तियां कई गुना बढ़ गई हैं। पांडे ने निष्पक्ष जांच की मांग करते हुए कहा कि इससे कई अनियमितताएं उजागर हो सकती हैं।

सत्ता पर गंभीर आरोप

विवेक पांडे ने आरोप लगाया कि जब सामाजिक रूप से सच बोलने या जनता की आवाज उठाने का प्रयास किया जाता है, तो सत्ता पक्ष पुलिस के माध्यम से आवाज को दबाने का काम करता है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री के आगमन से पहले ही उन्हें और अन्य पदाधिकारियों को नजरबंद कर दिया गया ताकि सीधी को संभाग बनाने की मांग न उठ सके।

उपमुख्यमंत्री पर तीखा हमला

प्रदेश उपाध्यक्ष ने उपमुख्यमंत्री राजेंद्र शुक्ला पर भी निशाना साधा और उन्हें सीधी जिले का सबसे बड़ा दुश्मन बताया। पांडे ने कहा कि शुक्ला रीवा रियासत की गुलामी करवाना चाहते हैं और अपनी राजनीति को चमकाने के लिए सीधी को संभाग नहीं बनने देना चाहते। सोन नदी पर बन रहे डेम से पानी अन्य क्षेत्रों में भेजा जा रहा है, जबकि सीधी को उसका लाभ नहीं मिल रहा।

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शिवसेना ने चेतावनी दी है कि अगर जिले की उपेक्षा और कार्यकर्ताओं की आवाज को दबाने का क्रम नहीं रुका तो बड़ा जन आंदोलन होगा। पांडे ने मांग की है कि सीधी जिले को सिंगरौली और मऊगंज जिले में बांट दिया जाए, जबकि रीवा को सतना, मैहर और पन्ना के साथ अलग संभाग घोषित किया जाए।

इस कार्रवाई में जिलाध्यक्ष बेनाम सिंह बघेल उर्फ भोले, सीधी विधानसभा प्रभारी रोहित राठौर, नगर अध्यक्ष जैनेंद्र सिंह चौहान उर्फ मुन्ना, नगर सहसंयोजक राजन मिश्रा और युवा जिला संयोजक राजन मिश्रा को भी नजरबंद किया गया।

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