कटनी, मध्य प्रदेश — कटनी जिले की रहने वाली 26 वर्षीय अर्चना तिवारी के लापता होने का मामला लगातार पेचीदा होता जा रहा है। उन्हें गायब हुए अब 7 दिन बीत चुके हैं, लेकिन पुलिस को अब तक कोई ठोस सुराग हाथ नहीं लगा है। मामले में अब पुलिस ने सिम कार्ड कंपनी से मदद लेने का फैसला किया है, ताकि कॉल रिकॉर्डिंग और लोकेशन डेटा के जरिए कुछ सुराग मिल सके।
एयरटेल कंपनी से मांगी गई कॉल डिटेल
पुलिस सूत्रों के अनुसार, अर्चना तिवारी एयरटेल कंपनी का सिम इस्तेमाल करती थीं। इससे पहले कटनी पुलिस ने जीआरपी (GRP) को अर्चना का कॉल डिटेल रिकॉर्ड (CDR) सौंपा था, लेकिन जांच में कोई अहम जानकारी सामने नहीं आई। अब पुलिस ने सीधे एयरटेल कंपनी से संपर्क कर अर्चना के कॉल रिकॉर्ड, अंतिम लोकेशन और संभावित बातचीत के ऑडियो डेटा की जानकारी मांगी है।
रक्षाबंधन के दिन हुई थी गुमशुदगी
अर्चना तिवारी इंदौर में रहकर सिविल जज की तैयारी कर रही थीं। रक्षाबंधन के मौके पर वह अपने परिवार से मिलने कटनी आ रही थीं। उन्होंने इंदौर से नर्मदा एक्सप्रेस में सवार होकर कटनी के लिए यात्रा शुरू की थी, लेकिन गंतव्य तक नहीं पहुंचीं। जांच में सामने आया कि उनकी आखिरी लोकेशन भोपाल के रानी कमलापति रेलवे स्टेशन पर दर्ज हुई थी। इसके बाद से उनका फोन स्विच ऑफ है।

34 थानों में चल रही है खोज
पुलिस ने बताया कि भोपाल से जबलपुर के बीच कुल 34 थाना क्षेत्र आते हैं, और सभी थानों में अर्चना की गुमशुदगी की सूचना भेजी गई है। लगातार चौकसी और खोज अभियान के बावजूद अभी तक उनकी कोई खबर नहीं मिली है।
परिजनों में गहरी चिंता
अर्चना के परिजन उनकी सुरक्षा को लेकर बेहद चिंतित हैं। परिवार का कहना है कि इतने दिनों से कोई खबर न मिलना बेहद परेशान करने वाला है और उन्हें आशंका है कि अर्चना के साथ कोई अनहोनी हुई हो सकती है। वे पुलिस से तेज कार्रवाई की मांग कर रहे हैं।
पुलिस कई एंगल से जांच में जुटी
कटनी एसपी कार्यालय के अधिकारियों का कहना है कि पुलिस टीम अलग-अलग एंगल से मामले की जांच कर रही है। ट्रेन यात्रा के दौरान किसी तरह की वारदात हुई या अर्चना स्वेच्छा से कहीं गईं — दोनों संभावनाओं पर काम किया जा रहा है। इसके अलावा रेलवे स्टेशन और आसपास के सीसीटीवी फुटेज भी खंगाले जा रहे हैं।
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इस घटना ने एक बार फिर रेलवे यात्रियों की सुरक्षा व्यवस्था और ट्रैकिंग सिस्टम की सीमाओं पर सवाल खड़े कर दिए हैं। अब देखना यह है कि सिम कार्ड कंपनी से मिली जानकारी इस रहस्य को सुलझाने में पुलिस की कितनी मदद करती है।